देश के विभिन्न प्रवेश जांच परीक्षाओं में रिजल्ट परसेंटाइल पर आधारित होता है। छात्रों के एक बड़े वर्ग को यह कन्फ्यूजन रहता है की परसेंटेज और परसेंटाइल में विशेष क्या अंतर होता है। क्या परसेंटेज और परसेंटाइल एक ही होता है या अलग-अलग। अगर दोनों के बीच फर्क है तो उनमें क्या विशेष अंतर होता है। आइए जानने की कोशिश करते हैं।
परसेंटेज और परसेंटाइल में अंतर
छात्रों के एक बड़े वर्ग को यह कन्फ्यूजन रहता है की परसेंटेज और परसेंटाइल एक ही होता है परंतु वास्तव में उनमें बड़ी भिन्नता होती है। परसेंटेज औरपरसेंटाइल के बीच के अंतर को एक उदाहरण से समझते हैं। मान लीजिए किसी स्टूडेंट को किसी परीक्षा में 80% अंक प्राप्त हुए है इसका सीधा सा मतलब यह होता है कि उसे 100 में से 80 अंक प्राप्त हुए हैं। वही यदि कहा जाए किसी स्टूडेंट का परसेंटाइल 80 है तो इसका मतलब यह होता है कि उस परीक्षा में बैठने वाले 80 परसेंट छात्रों के अंक उससे कम है। इसी प्रकार, यदि कहा जाए की आईआईटी प्रवेश परीक्षा में सोनू कुमार का 98 परसेंटाइल है तो इसका मतलब यह होता है कि उस परीक्षा में बैठे 98% छात्र उससे नीचे हैंऔर उसे परसेंटाइल के आधार पर संस्थान में प्रवेश मिल जाता है।
देश के विभिन्न संस्थानों जैसे आईआईटी, आईआईएम आदि संस्थानों मे परसेंटाइल के आधार पर सिर्फ प्रदर्शन करने वाले छात्रों को पहले दाखिला मिलता है। यह जानना आवश्यक है कि परीक्षा में कई सेक्सन होते हैं और सेक्शंस का परसेंटाइल निकालकर उसे फाइनल रिजल्ट के रूप में घोषित किया जाता है।